चेचक की समस्या हमे varicella-zoster virus (vzv) के कारण होती है। जब चेचक होता है तो हमारे शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता उसे धीरे-धीरे ठीक कर देती है। लेकिन कई बार vzv हमारे शरीर के Nervous System (तंत्रिका तंत्र) में बचा रह जाता है। जब vzv को दुबारा एक अनुकूल वातावरण मिलता है तो वह वापस पुरे शरीर पर हमला करता है तब हमारे शरीर में लाल रंग के बहुत से फोड़े हो जाते है जोकि काफी दर्द करता है, इसमें जलन भी काफी होता है। यह शरीर के किसी एक हिस्से पर ही बहुत ज्यादा होता है और उसमे बहुत ज्यादा जलन होता है। इस वायरल इन्फेक्शन को हम Herpes Zoster Infection कहते हैं और यह शरीर की त्वचा पर होता है।
Herpes Zoster Infection होने के कारण
जैसा की पहले कहा जा चूका है कि varicella-zoster virus के कारण यह समस्या होती है, varicella-zoster virus अनुकूल वातावरण देखकर दुबारा शरीर पर attack करता है, यह वायरस उस समय शरीर पर हमला करता है जब शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता बहुत ही कमजोर होती है। यदि पहले कभी चेचक हुआ हो और उसके ठीक होने के बाद आपको मधुमेय की समस्या हुई हो या आपकी उम्र बहुत ज्यादा हो गई है तो आपकी रोगप्रतिरोधक क्षमता कम हो जाती है और उस समय यह वायरस आपकी शरीर की त्वचा पर हमला करता है और आपको Herpes Zoster Infection हो जाता है। त्वचा पर लाल-लाल बहुत से छोटे-छोटे फोड़े हो जाते है जिनमे पानी भरा होता है और यह बहुत जलन पैदा करता है। ऐसा सामान्यतः देखा गया है की हर 100 लोगों में से 3 को यह Herpes Zoster Infection होता ही है चेचक ठीक होने के बाद।
Herpes Zoster Infection को कैसे पहचाना जाए और इसके लक्षण
तंत्रिकाओं के माध्यम से शरीर के एक हिस्से पर इसके लक्षण दिखते है। सबसे पहले उस हिस्से पर हल्का सा दर्द महसूस होगा, इसके बाद छोटे-छोटे दाने दिखेंगे और धीरे-धीरे वह दाने बड़े होते जायेंगे। यह लाल रंग के दाने होंगे और धीरे-धीरे उन दानों में पानी बार जायेगा और उसमे जलन महसूस होने लगेगी। पानी सूखने के बाद भी जलन बहुत अधिक रहेगा और लालपन भी बना रहेगा। यह लोगों की रोगप्रतिरोधक क्षमता पर निर्भर करता है की आपको कितनी जलन होगी और यह कितनी जल्दी ठीक होगा। यह कई बार पंद्रह दिन में ठीक हो जाता है और कई बार इसे ठीक होने में काफी महीने लग जाते है, यह शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता पर निर्भर करता है। इसकी वजह से सिर दर्द, बुखार, बदन दर्द व कमजोरी की समस्या भी हो सकती है। Herpes Zoster Infection होम्योपैथी से ही पूरी तरह से और जल्दी ठीक हो सकती है।
Herpes Zoster Infection से इलाज के लिए कुछ होम्योपैथिक दवाइयाँ
Variolinum 30 Ch :- अगर आपको Herpes Zoster Infection हो गया है और आपको बहुत जलन भी हो रही है साथ ही अन्य लक्षण भी दिख रहे हैं तो आप इस दवाई का सेवन दिन में दो बार दो-दो बून्द करे। आपको जल्द ही आराम मिल जायेगा।
Rhus Toxicodendron 30 Ch :- यदि लाल-लाल दानों की वजह से बहुत जलन होती है और इन दानों में पानी भर जाता है तो Rhus tox बहुत ही असरदार दवाई है। इसकी दो बूँद हर एक घंटे में पीना है, जैसे-जैसे यह Infection ठीक होने लगे इस दवाई का सेवन कम कर दे, जब इन्फेक्शन ठीक होने लगे तो आप इसका सेवन दिन में तीन बार शुरू कर दे। इसका सेवन दस से पंद्रह दिन करना है।
Arsenic Album 30 Ch :- यह दवाई शरीर पर होने वाले किसी भी प्रकार के दानों के लिए बहुत ही असरदार है, और यह जलन में भी राहत दिलाता है। इसकी एक-एक बूँद दिन में तीन बार लेनी है।
Cantharis 30 Ch :- अगर जलन बहुत ज्यादा हो और यह इन्फेक्शन भी बहुत ज्यादा हो तो आपको इस दवाई का सेवन करना है। यह इन्फेक्शन में भर जाने वाले पानी को सुखाने के लिए भी बहुत ही अच्छी दवाई है। साथ ही यह Varicella zoster वायरस को भी खत्म करती है जोकि हमारे Nervous System में छुपी होती है। इसकी दो-दो बूँद दिन में तीन बार लेनी है।
Calendula Officinalis Q :- इसको आपको अपने इफेक्शन वाले हिस्से पर लगाना है, इसको दिन में तीन से चार बार लगाना है। इसे लगाने के लिए आप रुई की सहायता ले सकते हैं। रुई पर इस दवाई को लगा ले और उस रुई की मदद से इन्फेक्शन वाले हिस्से पर आप लगाए लगभग 10-15 दिन तक।
इन दवाइयों के सेवन से Herpes Zoster Infection जल्दी ही ठीक हो जाता है और जलन भी कम हो जाती है। सभी दवाइयों के बीच कम से कम 15-20 मिनट का अंतर रखे, और जहाँ तक संभव हो इस दौरान आराम करे क्योकि ज्यादा काम करने से जल्दी ठीक होने समस्या आ सकती है।